सामान्य जानकारी
यूरोलोजी एवं गुर्दा प्रत्यारोप विभाग
सामान्य जानकारी
एसएमएस अस्पताल जयपुर में यूरोलॉजी विभाग की स्थापना और विकास 1976 में प्रोफेसर केसी गंगवाल ने किया था।
उसके बाद विभाग ने तेजी से कदम उठाए और जल्द ही भारत में यूरोलॉजी के रोगी की देखभाल और प्रशिक्षण का एक प्रमुख केंद्र बन गया।
वर्तमान में विभाग का नेतृत्व प्रोफेसर शेर सिंह यादव कर रहे हैं। विभाग में तीन इकाइयाँ हैं और कैथीटेराइजेशन स्क्वाड के साथ 24 घंटे अपनी आपातकालीन यूरोलॉजी ओपीडी चलाता है।
यूरोलॉजी की ओपीडी देश के अन्य यूरोलॉजी संस्थानों में सबसे व्यस्त ओपीडी में से एक है। सप्ताह के प्रत्येक कार्य दिवस में लगभग 350 रोगियों को देखा जाता है और उनका मूल्यांकन किया जाता है।
विभाग में विभिन्न रोगों के सभी प्रकार के रोगियों की देखभाल के लिए अच्छे इनडोर वार्ड, ऑपरेशन थिएटर, आईसीयू और लैब सुविधाएं हैं।
विभाग ने 1994 में लाइव डोनर रेनल ट्रांसप्लांट शुरू किया और अब तक 300 से अधिक रीनल ट्रांसप्लांट किए जा चुके हैं।
विभाग की एक और बड़ी उपलब्धि फरवरी 2015 में शुरू किए गए कैदवेरी किडनी प्रत्यारोपण की शुरुआत है। और आज दिनांक तक 35 केडे वरिक किडनी प्रत्यारोपन किये जा चुके है|
हमारे विभाग के पास M.Ch रेसिडेंट के लिए एक अच्छा अकादमिक और अनुसंधान प्रशिक्षण कार्यक्रम है और दुनिया भर में विभिन्न प्रतिष्ठित मेडिकल पत्रिकाओं में कई शोध पत्रों को प्रकाशित किया है।